योगी सरकार के एक फैसले से समाजवादी पार्टी के पूर्व अध्यक्ष और मुलायम सिंह यादव के भाई शिवपाल यादव समेत कई रिश्तेदारों की मुश्किलें बढ़ती दिखाई दें रही हैं।
दसअसल, बिना मंजूरी और व्यवसायिक शुल्क जमा किए व्यावसायिक गतिविधियां चलाने वाले ऐसे 58 मकानों को तत्काल सील करने का आदेश दिया गया है। जिसमे पूर्व सपा सरकार के कई नेताओं पर मनमाने तरीके से मकानों का लैंड यूज परिवर्तित कर व्यावसायिक करने की कोशिश की गई है। जिस पर एलडीए कमिश्नर ने तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी है। इस फैसले की जद में शिवपाल यादव समेत 58 ताकतवर लोग शामिल हैं।
एलडीए कमिश्नर अनिल गर्ग ने सभी इंजीनियरों को आदेश दिया है कि ऐसे सभी मकानों को तत्काल सील कराएं जिन्होंने बिना पूरी प्रक्रिया का पालन किए अपने मकानों में व्यावसायिक निर्माण और गतिविधियां शुरू कर दी हैं।
एलडीए कमिश्नर अनिल गर्ग ने कार्रवाई कर प्रस्ताव बोर्ड के पास स्वीकृति के लिए भेज दिया है। जिन प्रभावशाली लोगों के मकानों को व्यावसायिक करने का प्रस्ताव रद्द किया गया है उनमें पूर्व मंत्री शिवपाल यादव, मुलायम सिंह यादव की पत्नी साधना गुप्ता, मुलायम के समधी और समधन अरविन्द बिष्ट व अम्बी बिष्ट, एलडीए के पूर्व वीसी सतेन्द्र सिंह और सचिव आवास पंधारी यादव शामिल हैं। सपा संरक्षक मुलायम सिंह यादव की पत्नी साधना गुप्ता ने हालांकि परिवर्तन शुल्क जमा करा दिया है, इस चलते उनके आवास पर फैसला सुनवाई के बाद होगा।