सालों बाद आज शनि अमावस्या के दिन ऐसा संयोग बन रहा है जिसमें आप कुछ उपाय कर लें तो आपको शनि की विशेष कृपा प्राप्त होगी और आप मालामाल हो सकते हैं. आज के दिन विशाला नक्षत्र में शोभन योग है. यह योग यदि शनिवार के दिन हो तो इससे उस दिन का, तिथि और नक्षत्र का प्रभाव कई गुना अधिक बढ़ जाता है. इसके पहले शनि अमावस्या पर शोभन योग वर्ष 1987 में बना था. इस दिन पूजा-पाठ करने से आपको शनि की विशेष कृपा मिलेगी.
लगभग इतने वर्ष के बाद ही यह योग बनेगा. ग्रहों की गणना अनुसार वर्तमान में शनि धनु राशि में मार्गी है. इसके साथ ही सवा दो दिन के लिए चंद्र-बुध वृश्चिक राशि में युतिकृत रहेंगे. चूंकि बुध चंद्रमा के पुत्र होने से पिता-पुत्र का वृश्चिक राशि में शनि के साथ होने पर द्वादश: योग निर्मित होगा. चंद्रमा वनस्पति तो बुध व्यापार का सूचक होने से आने वाले समय में फसलों और कारोबार दोनों में वृद्धि करेंगे. वहीं वृश्चिक राशि का स्वामी मंगल भी कन्या राशि में परिभ्रमण कर रहा है. यह अवस्था भी परस्पर मंगल-बुध का राशि परिवर्तन कहलाती है. इससे नए कार्यों में आ रही बाधाएं दूर होकर सफलता मिलेगी.
ये करें उपाय
इस दिन मनुष्य को सरसों का तेल, उड़द, काला तिल, देसी चना, कुलथी गुड़, शनियंत्र, और शनि संबंधी समस्त पूजन सामग्री अपने ऊपर वार कर शनिदेव के चरणों में चढ़ाकर शनिदेव का तैलाभिषेक करना चाहिए.
शनि अमावस्या के दिन प्रात: जल में चीनी एवं काला तिल मिलाकर पीपल की जड़ में अर्पित करके सात परिक्रमा करने से शनिदेव प्रसन्न होते हैं.
आज काजल, काला कंबल और लोहे के चाक़ू का दान करें. लोहे के पांच चाक़ू दान करें. चाकू किसी लोहार से ही खरीदें.
शाम को एक या दो दरिद्र को भरपेट भोजन कराएं. साथ ही उसको कुछ धन का दान करें. भोजन में रोटी पराठे चावल सब्जी दाल, मिठाई और खीर होगी. शनिवार को ख़ास चीजें दान करें.
शनिदेव की दशा में अनुकूल फल प्राप्ति कराने वाला मंत्र- ऊं प्रां प्रीं प्रौं शं शनैश्चराय नम: