पाकिस्तान में कुलभूषण जाधव को फांसी की सजा देने के बाद संसद में कांग्रेस के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने लोकसभा में पीएम मोदी की लाहौर यात्रा पर निशाना साधते हुए कहा था कि कुलभूषण जाधव के मुद्दे पर भारत सरकार ने पाकिस्तान से बात की क्यों नहीं की है।
पाकिस्तान ने बेगुनाह कुलभूषण जाधव को सुनाई मौत की सजा
इस पर जवाब देते हुए राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत सरकार फांसी की निंदा करती है। कुलभूषण के जासूस होने का कोई सवाल ही नहीं उठता है। वह तो तेहरान बिजनेस करने गए थे।
गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने लोकसभा बयान दिया है कि ,”कुलभूषण को बचाने के लिए सरकार को कुछ भी करना पड़े किया जाएगा।”
राजनाथ सिंह ने कहा कि कुलभूषण को छुड़ान के लिए सरकार को कुछ भी करना पड़े, किया जाएगा। कुलभूषण तेहरान बिजनेस करने के लिए गए थे। एक जासूस भारतीय पासपोर्ट क्यों रखेगा। कुुलभूषण जाधव के जासूस होने का कोई सवाल ही नहीं उठता। जाधव के मुद्दे पर सुषमा स्वराज बयान देंगी। इस फांसी की सजा को भारत सरकार निंदा करती है। कुलभूषण जाधव के साथ न्याय होगा।
अज्ञात जगह पर रहने चला गया कुलभूषण जाधव का परिवार
कांग्रेस के नेता खड़गे ने कहा कि पाकिस्तान ने कुलभूषण के मुद्दे पर अंतरराष्ट्रीय नियमों को तोड़ा है। वहीं असुद्दीन ओवैसी ने भी पाकिस्तान की तीखी आलोचना करते हुए कहा कि पाकिस्तान की अदालत ‘बनाना कोर्ट’ है उसने बिना कोई ठोस सबूत होते हुए भी कुलभूषण जाधव को फांसी की सजा सुना दी है।
पाकिस्तान ने आरोप लगते हुए कहा कि 3 मार्च 2016 को जब कुलभूषण जाधव को गिरफ्तार किया गया था तो वह भारतीय नौसेना में कमांडर थे। उन्होंने अदालत में माना कि वह रॉ के एजेंट थे। जाधव ने नाम बदलकर हुसैन मुबारक पटेल नाम रखा था। भारतीय खूफिया एजेंसी ने उन्हें कराची और बलूचिस्तान भेजा था। ईरान के रास्ते जब वह पाकिस्तान पहुंचे तो उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया।