बेंगलुरु :वरिष्ठ पत्रकार और सोशल एक्टिविस्ट गौरी लंकेश की हत्या के बाद उनके भाई इंद्रजीत लंकेश ने मीडिया को बताया कि उनकी बहन को पिछले कुछ दिनों से आभास हो रहा था कि उनकी जान खतरे में हैं। इस बारे में गौरी ने अपने भाई को बताया था। पर वो खतरा कौन है इस बात की पुष्टि उनकी हत्या के दो दिन बाद भी नहीं हो पायी है। सरकार जहां इस हत्या के पीछे किसी निजी विवाद को मुख्य वजह मान रही है तो वहीं दूसरी तरफ गौरी के भाई इंद्रजीत ने इस हत्या के लिए नक्सली एंगेल को भी शक के दायरे में लेते हुए जांच करने की अपील है। आपको बता दें की गौरी लंकेश नक्सलवादियों को मुख्यधारा में लाने के लिए कर्नाटक सरकार के साथ सक्रिय रूप से काम कर रही थीं हालांकि ये पहल उनके पक्ष में नहीं गई।
इंद्रजीत ने खुलासा किया कि, उन्हें सूत्रों के जरिए जानकारी मिली थी कि नक्सली ऐसे पैमफ्लेट छपवा रहे हैं जिसमें वो अपने साथी माओवादियों को मुख्यधारा में शामिल होने के खिलाफ चेतावनी दे रहे हैं। हालांकि गौरी लंकेश ने खुद कभी अपने परिवार को नहीं बताया कि उन्हें किसी तरह की धमकी मिल रही है।एक सवाल के जवाब में इंद्रजीत ने कहा कि उनकी बहन की हत्या की जांच हर एंगल से होनी चाहिए फिर वो चाहे नक्सली हों या हिंदू चरमपंथी।
गौरी लंकेश की हत्या के बाद देशभर में काफी विरोध प्रदर्शन हुआ जिसके चलते कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने गौरी लंकेश के परिजनों को उनकी हत्या की जांच के सही दिशा में चलने का भरोसा दिलाया है। इंद्रजीत को इस आश्वासन पर पूरा विश्वास है लेकिन वो इस बात पर जोर दे रहे हैं कि हत्या की जांच सीबीआई को दी जानी चाहिए।जब उनसे पूछा गया कि क्या वे बीजेपी के सदस्य रहे हैं, इंद्रजीत ने जवाब दिया कि वे निर्देशक और पत्रकार हैं तथा कभी भी बीजेपी में शामिल नहीं होंगे। दूसरी तरफ गौरी की हत्या के पीछे निजी या पारिवारिक कलह का खंडन करते हुए उन्होंने बताया कि वो और उनकी बहन किसी भी संपत्ति विवाद में शामिल थे।इंद्रजीत ने कहा कि उनके और उनकी बहन के बीच वैचारिक मतभेदों के कारण थोड़ी दूरियां थीं, लेकिन इसका मतलब ये नहीं कि उन्होंने आपसी संबंध तोड़ लिए थे।