नई दिल्ली : देश में अक्सर ही लड़कियों के साथ छेड़छाड़ ,बलात्कार जैसी ख़बरें आती ही रहती हैं। लोग चिल्लाकर शांत हो जाते हैं और सरकार पीड़िता की ही चीखें दबाकर मामला ठंडा कर देती है। कुछ मामलें तो ऐसे भी होते हैं जो सामने ही नहीं आते हैं ,और जब ये उजागर होते हैं तब तक बहुत देर हो चुकी होती है। अक्सर लड़कियां खुद को कमजोर समझकर मनचलों को सबक सिखाने से चूक जाती हैं। जिससे मनचलों के हौसलें और बुलंद हो जाते हैं। आख़िरकार लड़की के साथ कुछ ऐसा होता है जिसे उसकी ज़िन्दगी तो खराब होती ही है साथ ही साथ उसके परिवार भी उजड़ जाता है।
हर पल डर के साए में जीती हैं लड़कियां
अरे आपने भी तो कई बार देखा होगा सड़कों पर अपने मौहल्ले में कई बार देखा होगा। मगर आप नज़रअंदाज करके आगे बढ़ गए होंगे।लेकिन आपने एक बार भी सोचा है कि उन लड़कियों पर क्या बीतती होगी रोज़ जिन्हे हरदिन हर पल ऐसे मनचलों की गन्दी हरकतों का सामना करना पड़ता होगा। किस कदर वो डर के साये में ज़िंदगी जीती होंगी इसका आपको अंदाजा तक नहीं होगा।
सरेराह छेड़ रहे थे मनचले ,कपड़े फाड़ने की थी कोशिश
मगर आज हम आपको जो वाक्या बताने जा रहे हैं वो पुरुष प्रधान समाज के उन मनचलों के लिए एक बड़ा सबक है जो लड़कियों को छेड़ने को अपनी हीरोपंती समझने की भूल करते हैं। आज हम बताने जा रहे हैं कि किस तरह जब एक लड़की को सरेराह मनचलों ने छेड़ा और उसके कपडे फाड़ने की कोशिश करने लगे तो उस लड़की को थोड़ा डर तो लगा मगर अपने डर पर काबू पाते हुए उसने उन मनचलों को ऐसा सबक सिखाया कि वो पूरे देश की बेटियों को उस लड़की पर गर्व हो रहा है।
लड़की ने आव देखा ना ताव, सडक पर दौड़ा-दौड़कर पीटा
मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में बीती शाम को एक लड़की अपनी एक दोस्त के साथ मॉल में फिल्म देखने गयी थी। फिल्म से लौटते समय कुछ मनचलों ने उसकी स्कूटी का पीछा करना शुरू कर दिया। पहले तो वो लड़के भद्दे-भद्दे कमेंट्स कर रहे थे तो लड़की ने उन्हें नजरअंदाज करने की कोशिश की मगर उसके बाद उन लड़कों ने पीछे से उसकी ड्रेस जैसी ही खींची लड़की का पारा हाई हो गया। बीच सड़क में ही लड़की ने स्कूटी रोकी और आव देखा ना ताव उन मनचलों से अकेले ही भिड़ गयी। इसी बीच उसकी दोस्त ने भी मनचलों की धुनाई शुरू कर दी। दोनों ही लड़कियों ने उन मनचलों को सड़क पर दौड़ा-दौड़ा कर पीटा।
दर्शक बनी भीड़ से लडकी ने कहा ऐसा ,शर्म से झुक गया सबका सिर
इसके बाद वहां खड़ी भीड़ ने भी उन मनचलों को जमकर लताड़ा। आलम ये था कि मनचले खुद लड़की के पैर में गिर कर माफ़ी मांगने पर मजबूर हो गए थे। लड़की की इस बहादुरी की सभी ने तारीफ की। मगर लड़की वहां दर्शक बनी भीड़ से एक ऐसी बात कही कि सबका सर शर्म से झुक गया ”लड़की ने कहा कि किसी भी लड़की के साथ जब ऐसा होता है तो आप सब नज़ारा देख कर मज़े लेते हैं और जब बलात्कार हो जाता है तो मोमबत्तियां लेकर धरने का दिखावा करते हैं।”
चीखें दबने के बाद आवाज उठाना है बेवकूफी
लड़की की बात जायज भी है। आपके घर में भी लड़कियां हैं तो जब कभी भी आप अपने सामने ऐसा होते देखे तो उसका विरोध ज़रूर करें और नहीं किया तो फिर जब चींखे ही दब जाएँगी उसके बाद आवाज उठाने का दिखावा करने का क्या फायदा।