लंदन, 12 मई 2021
शायद ही कोई शख्स होगा जिसे पिज्जा खाना ना पसंद हो, घर हो या ऑफिस लोग अक्सर पिज्जा पार्टी करना नहीं भूलते हैं। सोचा अगर ऑफिस में हुई पिज्जा पार्टी में किसी को ना बुलाने पर कंपनी को 24 लाख का हर्जाना देना पड़े तो कंपनी पर क्या बीती होगी। जी हां ऐसी ही एक मामला सामने आया है। ऑफिस में काम करने वाली रिसेप्शनिस्ट को पिज्जा पार्टी में शामिल ना करने पर बॉस को 23.5 लाख रुपये से ज्यादा का मुआवजा चुकाना पड़ा।
बॉस ने जानबूझकर पार्टी में शामिल नहीं किया
ब्रिटेन में फोर्ड कार डीलरशिप हार्टवेल के मालिक हर महीने दोपहर के भोजन के रूप में कर्मचारियों को कुछ भी ऑर्डर करने के लिए कहते थे। इस दौरान कर्मचारी अपनी पसंद का पिज्जा, मछली और चिप्स जैसे व्यंजन ऑर्डर करते थे। एक दिन रिसेप्शनिस्ट मालगोरजाटा लेविका को उसके बॉस ने जानबूझकर पार्टी में शामिल नहीं किया। लेविका की माने तो उन्हें एक दिन जानबूझकर दोपहर के भोजन से हटा दिया गया था।
बॉस पर लगाए थे गंभीर आऱोप
लेविका का दावा है कि उसे जानबूझकर इस लंच से बाहर रखा गया क्योंकि उसने स्टाफ के एक सदस्य पर लैंगिक भेदभाव करने का आरोप लगाया था। लेविका ने बताया कि इस शिकायत के बाद ही कंपनी की ओर से हर महीने के आखिरी शुक्रवार को होने वाले लंच से बाहर रखा गया। इसके बाद महिला कर्मचारी ने अपने वेतन, काम के घंटों और अपने बॉस मार्क बेन्सन द्वारा कथित यौन दुराचार के बारे में न्यायाधिकरण में शिकायत दर्ज कराई।
कंपनी को देना पड़ा 24 लाख का मुआवजा
कर्मचारी माल्गोरजाटा लेविका ने ट्राइब्यूनल में मार्च 2018 में शिकायत की थी। महिला की शिकायत पर कंपनी दलील में कहा कि लेविका को इसलिए खाने के लिए नहीं पूछा जाता था क्योंकि वह पार्ट टाइम कर्मचारी थी और उसकी ड्यूटी दोपहर 1 बजे ही खत्म हो जाती थी। ट्राइब्यूनल ने इस दलील को खारिज कर दिया। न्यायाधीश ने फैसला सुनाया कि वो अभी भी अनौपचारिक सभा का हिस्सा बन सकती है। इसके अलावा लेविका के बॉस को घोर दुराचार और बलात्कार का दोषी पाया गया। उसके बाद उसे 24 लाख रुपए मुआवजे के रूप में देने पड़े।