एडल्ट मूवीज को इंडिया में ‘ब्लू फिल्म’ कहा जाता है लेकिन कभी आपने सोचा है कि ऐसा क्यों? इसके पीछे तीन थ्यौरी हैं, जो हम आपको आज बताने जा रहे हैं।
पहले पार्न इंडस्ट्री में फिल्मों का बजट बहुत कम हुआ करता था, इसलिए डायरैक्टर्स ने ब्लैक एंड व्हाइट रील को कलर्ड में तब्दील करने के लिए आसान और सस्ते तरीके अपनाए। इसी के चलते मूवी प्रिंट पर ब्लू टिंट नोटिस होते हैं और शायद इसी वजह से इन फिल्मों को ब्लू फिल्म्स कहते हैं। वहीं, जिन थिएटर्स में बी ग्रेड फिल्में दिखाई जाती है वहां लगाए जाने वाले पोस्टर्स भी हमेशा ब्लू ही रखे जाते हैं। दरअसल, कहा जाता है कि ये कलर ज्यादा आकर्षित करता है इसलिए भी शायद इसे ब्लू फिल्म्स कहते हैं।50 से 60 साल पहले तक कई राज्यों में ‘ब्लू लॉ’ यानी ‘ब्लू कानून’ हुआ करता था। इसके मुताबिक रविवार के दिन कई बिजनेस ऑपरेट करने की परमिशन नहीं हुआ करती थी। इसी वजह से रविवार को ब्लू मूवीज भी नहीं दिखाई जाती थी। हो सकता है कि बी ग्रेड मूवीज को इस कारण से ब्लू फिल्म कहते हो।
शुरुआती दिनों में वीसीआर का ही ट्रेंड हुआ करता था। उस समय वीडियो स्टोर्स नॉर्मल वीसीआर कैसेट्स को सिंपल पॉलिथिन में दिया करते थे लेकिन पोर्न फिल्म्स के लिए ब्लू पॉलिथिन ही यूज की जाती थी ताकि कलर के जरिए आसानी से पहचान की जा सके।