प्रयागराज, 23 सितम्बर 2021
उत्तर प्रदेश के प्रयागराज (Prayagraj) में अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेंद्र गिरि की मौत (Mahant Narendra Giri Death Case) मामले में गिरफ्तार कर जेल भेजे गए आनंद गिरि (Anand Giri) और आद्या प्रसाद तिवारी (Aadya Prasad Tiwari) ने अपने ऊपर जान का खतरा बताते हुए प्रशासन से सुरक्षा की मांग की है. मामले में सीजेएम कोर्ट ने आदेश दिया है कि आनंद गिरि और आद्या प्रसाद तिवारी की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से पेशी होगी. कोर्ट ने अगले आदेश तक वीडियो कान्फ्रेसिंग से पेशी का आदेश दिया है.
दरअसल आनन्द गिरि और आद्या प्रसाद तिवारी की ओर से अर्जी दाखिल कर विशेष सुरक्षा की मांग की गई थी. सीजेएम कोर्ट ने जेल मैनुअल व अन्य विधिक प्रावधानों के तहत कार्रवाई का निर्देश दिया है. आरोप है कि बुधवार को पेशी के दौरान आनन्द गिरि और आद्या प्रसाद तिवारी के साथ धक्का-मुक्की हुई थी. यही नहीं उन्होंने आरोप लगाया है कि दोनों के साथ मारपीट करने की भी कोशिश हुई थी. सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों ने उन्हें बमुश्किल कोर्ट परिसर से सुरक्षित निकाला था.
दरअसल मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी, इलाहाबाद को दिए प्रार्थना पत्र में आनंद गिरि ने वकील के माध्यम से कहा है कि उन्हें और आद्या प्रसाद तिवारी को 22 सितंबर को न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेजा गया है. जब पुलिस अभिरक्षा में न्यायालय के समक्ष पेश किया गया, तब न्यायालय के बाहर कुछ अराजक तत्वों द़वारा उनके साथ मारपीट की गई और दुर्व्यव्हार किया गया. उन्हें आशंका है कि जेल के अंदर और जेल से न्यायालय लाते समय उनके साथ प्राणघातक हमला व दुर्व्यवहार हो सकता है.
उन्होंने अपील की है कि न्याय के हित में आवश्यक है कि अधीक्षक, केंद्रीय कारागार, नैनी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, इलाहाबाद को आदेश दिया जाए कि वह आवेदक को जेल में विशेष सुरक्षा प्रदान करें और जेल से न्यायालय लाते समय व न्यायालय से जेल ले जाते समय विशेष सुरक्षा प्रदान करें.
बता दें महंत नरेंद्र गिरि आत्महत्या मामले में आरोपी आनंद गिरि की न्यायिक हिरासत को 14 दिन के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. बुधवार को उत्तर प्रदेश पुलिस ने आनंद गिरि को कोर्ट में पेश किया था, जिसके बाद उसे न्यायिक हिरासत में भेजा गया.