फरीदाबाद, एससी एसटी एक्ट पर आए सुप्रीम कोर्ट के दिशानिर्देश के विरोध दलित संगठनों ने फरीदाबाद में जोरदार विरोध प्रदर्शन किया और पुलिस पर पथराव किया। प्रदर्शनकारियों ने मोदी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की। शहर के बीके चौक से शुरू हो कर प्रदर्शन रेलवे रोड और मथुरा रोड होते हुए लघु सचिवालय पर खत्म हुआ। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने जमकर सरकार विरोधी नारे भी लगाए। भारी संख्या में सड़कों पर मौजूद प्रदर्शनकारियों को देखते हुए पुलिस ने भी सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए थे।
फरीदाबाद पुलिस बल प्रदर्शनकारियों के आगे आगे चलता रहा ताकि कोई भी अप्रिय हालात ना हो सके। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि एससी एसटी एक्ट को उसके मूल रूप में ही बहाल किया जाना चाहिए। इसके लिए केंद्र सरकार को सुप्रीम कोर्ट में रिव्यू पिटीशन डालनी पड़े या फिर कोई कानून ही क्यों ना बनाना पड़े।
दलित संगठनों ने हालांकि भारत बंद का आव्हान किया था लेकिन फरीदाबाद में बंद का कोई असर नहीं रहा वहीं प्रदर्शनकारियों ने भारी संख्या में इक_ा होकर जमकर उत्पात मचाया। शहर के मुख्य चौराहे पर भी आगजनी की और कई टायरों को आग लगाकर हुडदंग मचाया, पुलिस की कई गाडिय़ों को तोड़ दिया। प्रदर्शनकारियों को खदेडऩे के लिए पुलिस बल का प्रयोग किया गया, जिससे प्रदर्शनकारी तितर बितर हो गए और सभी मुख्य चौराहे को सुचारु रुप से चालू किया गया।
इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने कई निजी वाहनों को भी क्षति पहुंचाई और ट्रेन के ऊपर भी पथराव किया हालांकि इस पूरी घटना में 3 पुलिसकर्मी भी घायल हो गए जिसके बाद पुलिस ने कई उपद्रवियों को गिरफ्तार भी किया प्रदर्शन करने पहुंचे प्रदर्शनकारियों के हाथों में लाठी-डंडों से लैस दिखाई दिए।
बीके चौक से खदेड़ा जाने के बावजूद कुछ प्रदर्शनकारियों ने नीलम चौक स्थित शुभम टावर के अंदर घुसकर भी उत्पात मचाया और वहां खुली एसबीआई बैंक की ब्रांच को जबरदस्ती बंद करवा दिया जिसके चलते बैंक कर्मी भी बैंक के अंदर ही बंद हो गए।