fastest-li-fi-internet

स्लो इंटरनेट स्पीड खराब कनेक्टिविटी की वजह से कई परेशानियां हैं. वाईफाई के बारे में तो आप जानते ही होंगे, लेकिन अब आपको लाईफाई के बारे में भी जान लेना चाहिए.

डिजिटल इंडिया का सपना तब तक पूरा नहीं हो सकता जबतक भारत इंटरनेट और कनेक्टिविटी के लिस्ट में निचले पायदान पर बना रहेगा.

LiFi एक ऐसी तकनीक है जो कनेक्टिविटी के मामले में WiFi से सौ गुना ज्यादा है. दरअसल यह एलईडी बल्ब के सहारे काम करता है. इस तकनीक के तहत आपके घर में लगाया गया एलईडी बल्ब भी हाई स्पीड डेटा ट्रांसमिट करेगा और इसके लिए उसे वाईफाई या ब्रॉडबैंड की जरूरत भी नहीं होगी.

रिपोर्ट के मुताबिक भारत सरकार इस टेक्नॉलॉजी की टेस्टिंग कर रही है ताकि इसे इस्तेमाल में लाया जा सके. ET की एक रिपोर्ट के मुताबिक हाल ही में IT मंत्रालय ने LiFI (Light fidelity) को पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर टेस्ट किया है. इसमें 10gbps की स्पीड से डेटा ट्रांसमिट करने के लिए एलईडी बल्ब और लाइट स्पेक्ट्रम यूज किया जाता है. इसकी कनेक्टिविटी की रेंज भी वाईफाई की तुलना में ज्यादा है. आम तौर पर वाईफाई के जरिए आप एक कमरे या फिर एक आर्टमेंट को कनेक्ट कर सकते हैं, लेकिन LiFi का रेडियस 1 किलोमीटर तक का है.

चूंकि भारत में अभी हर जगह फाइबर बिछा कर कनेक्टिविटी देने में काफी समस्याएं हैं और इसमें काफी समय भी लेगागा. ऐसे में सरकार चाहेगी की लाईफाई के जरिए वैसे इलाकों में कनेक्टिविटी मुहैय्या कराई जा सके जहां फाइबर के जरिए कनेक्टिविटी दे पाने में मुश्किल हो रही है.

मंत्रायल के अंदर आने वाले एडुकेशन एंड रिसर्चर नेटवर्क के डायरेक्टर जनरल नीना पाहुजा ने ET से कहा है, ‘LiFi का सबसे बड़ा इस्तेमाल आने वाले समय में देश के स्मार्ट सिटीज में किया जा सकेगा. इसका थीम मॉडर्न सिटीज के लिए इंटरनेट ऑफ थिंग्स होगा और इसे एलईडी से कनेक्ट किया जा सकेगा’

क्या है LIFI टेक्नॉलॉजी

इस तकनीक में इंटरनेट कनेक्टिविटी के लिए विजिबल लाइट कम्यूनिकेशन (VLC) का यूज किया गया है जिसके जरिए इसकी कनेक्टिविटी स्पीड लैब में 1Gbps दर्ज की गई है, जो आम वाईफाई से 100 गुना ज्यादा है.

2015 के आखिर में इस तकनीक को पहली बार टेस्टिंग लैब से बाहर प्रयोग किया जहां इसकी कनेक्टिविटी स्पीड 1Gbps टेस्ट की गई. गौरतलब है कि ज्यादातर आम वाईफाई राउटर्स में 100Mbps की कनेक्टिविटी स्पीड होती है.