रायपुर के सरकारी अस्पताल डॉक्टर भीम राव आंबेडकर मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन की कमी से 3 बच्चों की मौत हो गई थी। ऐसा एक कर्मचारी द्वारा शराब पी कर ऑक्सीजन प्लांट बंद कर देने के कारण हुआ था। इसके बाद हॉस्पिटल सुपरिटेंडेंट ने उस शराबी कर्मचारी को पकड़ा और पुलिस के हवाले कर दिया। मेडिकल प्रशासन ने इस घटना की जांच के निर्देश दे दिए है।
आपको बता दें कि देर रात शराब के नशे में एक कर्मचारी ने ऑक्सीजन प्लांट का एक वॉल्व बंद कर दिया। इससे चाइल्ड वार्ड के 3 वेंटिलेटर प्रभावित हुए। तीनो वेंटिलेटर में रखे हुए बच्चों को ऑक्सीजन न मिल पाने से उन्होंने दम तोड़ दिया। ऑक्सीजन बंद होने से हुई अफरा-तफरी में ड्यूटी डॉक्टर को पता लगा कि कोई व्यक्ति शराब के नशे में ऑक्सीजन प्लांट की ओर देखा गया था। मौके को देखते हुए डॉक्टर उस ओर दौड़े और उन्होंने शराबी को अपने कब्जे में ले लिया। इसके साथ ही ऑक्सीजन वॉल्व ऑन किया। इस घटना की जांच-पड़ताल खुद मेडिकल कॉलेज के सुपरिटेंडेंट डॉक्टर विवेक चौधरी ने की है।
शराबी कर्मचारी को किया पुलिस के हवाले-
मेडिकल कॉलेज के अधीक्षक डॉक्टर विवेक चौधरी के अनुसार जिस व्यक्ति ने इस घटना को अंजाम दिया, उसे पुलिस के हवाले कर दिया गया है। उसे नौकरी से निकालने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी गई है। उधर तीनो बच्चो की मौत से अस्पताल में गहमागहमी मच गई है। बच्चो के परिजनों का रो-रो के बुरा हाल हो गया है। सरकार ने घटना के जांच के आदेश दे दिए है। मुख्यमंत्री रमन सिंह ने इस घटना की तीखी निंदा करते हुए उच्च स्तरीय जांच के आदेश दे दिए है।
गौरतलब है कि हाल ही के दिनों में गोरखपुर के बीआरडी कॉलेज में इंसेफेलाइटिस से पीड़ित बच्चों की ऑक्सीजन की कमी की वजह से मौत हो गई थी। 11 अगस्त को करीब 30 बच्चों की मौत की सूचना सामने आई थी, जिसके बाद हर दिन मौत का आंकड़ा बढ़ता गया और करीब 70 बच्चों की मौत हो गई थी। हालांकि, सरकार ने ये दावा किया था कि ऑक्सीजन की कमी के चलते बच्चों की मौत नहीं हुई है।