Blood

हर घर में मिलने वाला और देखने में सामान्य सा लगने वाला ओर आसानी से मिलने वाला लह्सुन हार्ट अटैक (heart attack ) जैसी गंभीर बीमारी से बचाव करने तथा दोबारा heart attack आने कि संभावना को 50% तक कम कर देता है।

लहसुन में मुख्य रूप से सल्फर युक्त compound पाए जाते है। जो मुख्य रूप से ALLICIN से उत्पन होते हैं।

जानिए heart attack के खतरे को कैसे कम करता है लहसुन।

➤ Blood Cholesterol को कम करता है लहसुन-

– लहसुन में पाया जाने वाला ALLICIN तत्व छोटी आंत से cholesterol के अवशोषण और पित का पुनावशोषण रोक देता है। जिससे Cholesterol रक्त में नही जा पाता है।

– लहसुन एलोपैथी दवा statins(atorvastatin) कि तरह HMG COA REDUCTASE नामक ENZYEM को ब्लॉक कर देता है। जो cholesterol बनने के लिए बहुत जरुरी होता है। जिससे रक्त में cholesterol की मात्रा कम हो जाती है।

➤ Good Cholesterol HDL को बढाता है लहसुन-

– oxidized LDL ही CORONORY ARTERY में तथा अन्य रक्त वाहिनियों में जमा होता है। लह्सुन LDL cholesterol के oxidation को कम कर देता है। जिससे वो रक्त वाहिनियों में जमा नही हो पाता है।

➤ Blood Pressure को कम करता है लहसुन-

लहसुन BP को भी सामान्य रखता है। ये HYPERTENSIVE पेशेंट (high bp) में 20-30 mmhg systolic pressure और 10-20 mmhg diastolic pressure में भी कमी लाता है। लह्सुन रक्तवाहिनियों को खोल देता है तथा उन्हें relax रखता है, जिससे bp सामान्य होने से रक्त वाहिनियों पर दबाव कम पड़ता है। जिससे उनमे क्षति नहीं होती है।

➤ Blood Coagulation और Blood Clot को कम करता है लहसुन-

लहसुन में पाया जाने वाला रसायन ajoene एलोपैथी कि दवा asprin और clopidogril कि तरह काम करता है। जोकि एक anticoagulant है। ये platelates की stickness को कम करके blood coagulation को रोकता है।

लहसुन fibronoltic एक्शन भी होता है, जिससे coronory और अन्य रक्त वाहिनियों में बनने वाला clot या रक्त का थका पिघल जाता है और रक्त का सर्कुलेशन बिना रुकावट के शुरू हो जाता है। इस प्रकार से allopathy की heart attack से बचाव करने वाली मुख्यता तीनो दवाओ के गुण अकेले लहसुन में पाए जाते हैं। वो भी बिना किसी दुष्प्रभाव के…

ये तीनों दवाएं combination में heart attack के मरीज को दी जाती है।
Atorvastatin- HMG COA reductase inhibiter cholesterol कम करने के लिए।

Clopidogril- Platelate Stickness को कम करती है और blood clot बनने से रोकती है।
Aspirin- Platelate Aggregation को रोकती है, clot बनाने से रोकती है, blood clot को dissolve करने में सहायक होती है।

➤ इसे इस्तेमाल करने का तरीका-
लहसुन को छोटे-छोटे टुकडो में काट लें या उसे अच्छी तरह से पीस कर कम से कम 10 मिनट तक ऐसा ही पड़ा रहने दें। इसको तुरंत इस्तेमाल नहीं करना है। ऐसा करने से लहसुन में मोजूद Alliin केमिकल Allinylase एंजाइम की उपस्थिति में ALLICIN में बदल जाता है। लहसुन के अधिकतर गुण ALLICIN के कारण होते हैं। 10 मिनट बाद आप कटे हुए या बारीक़ लहसुन को पकाकर या इसका रस निकाल कर ले सकते हैं। कच्चा लहसुन खाने से जलन हो सकती है इसलिए इसको कच्चा न खाकर इसे पकाकर खाएं।

विशेष- यदि आप इसको काटकर या पीसकर कम से कम 10 मिनट तक रखेंगे, तो ही इसमें ये गुण आयेंगे। सीधे-सीधे इस्तेमाल करने से इसमें इसके उपरोक्त गुण नहीं आयेंगे।

➤ कैसे करना है प्रयोग-
यदि आप इसके प्रयोग के लिए पहले से ही उपरोक्त बताई गयी दवाएं खा रहें हैं, तो इसका उपयोग नियंत्रित मात्रा में ही करें और यदि आप उपरोक्त दवायें नहीं ले रहें हैं, तो आप इसको हर रोज़ 5 से 10 ग्राम खा सकते हैंं। एक लहसुन की पोथी में तकरीबन 4 से 5 ग्राम तक वजन होता है।

➤ लहसुन का इस्तेमाल करने से ध्यान रखें ये बातें-
– लहसुन बहुत से एलोपैथी दवाओं जो कि heart कि बीमारी में काम में ली जाने वाली से interact करता है, जैसे anticoagulant medicine ( aspirin, clopidogril, warfarin etc) को लहसुन के साथ लेने से bleeding disorder (रक्तसत्राव) होने का खतरा हो सकता है। यदि आप ये दवायें जो कि रक्त को पतला करने का काम करती है उसे ले रहे हैं तो लहसुन का अत्यधिक उपयोग करने से पहले इसके लिए आप अपने doctor से राय जरूर लें और अपना prothrombin time (INR) जांच जरूर करवा लें, इससे आप को BLEEDING disorder होने के चांसेस का पता लग जायेगा।

लहसुन bp को कम करने वाली तथा cholesterol को कम करने वाली दवाओं के प्रभाव को बढ़ा देता है, तो यदि आप लहसुन का ज्यादा उपयोग कर रहे हैं, तो आप उस हिसाब से अपनी दवाओं कि dose को doctor द्वारा adjust करवा ले।

उम्मीद करते हैं कि आज की हमारी दी गयी जानकारी से आपके ज्ञान में बढ़ोतरी होगी और पढ़े लिखे लोगों से भी आप तर्क कर सकेंगे।