अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई ने अफगानिस्तान में भारत के बढ़ते प्रभावों की पाकिस्तानी धारणा को खारिज किया है। करजई ने कहा, “पाकिस्तान की तरह अफगानिस्तान भी एक स्वतंत्र देश है और उसे किसी के भी साथ संबंध रखने का अधिकार है। मगर, मैं पाकिस्तान को भरोसा दिलाता हूं कि कोई भी हमारी धरती का इस्तेमाल पाकिस्तान और किसी दूसरे देश के खिलाफ नहीं कर सकता।”
करजई अफगानिस्तान के लंबे समय तक राष्ट्रपति रहे हैं, वह एक प्रभावी नेता माने जाते हैं।
करजई ने सोमवार को पाकिस्तानी पत्रकारों के एक समूह से काबुल में कहा कि वह पवित्र महीने रमजान के बाद प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के निमंत्रण पर पाकिस्तान की यात्रा पर जाएंगे। डेली टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार अफगानिस्तानी नेता ने कहा, “मैं शांति के लिए भूमिका निभाना पसंद करूंगा। मैं उम्मीद करता हूं कि यात्रा से कुछ अच्छे नतीजे आएंगे।”
नवाज शरीफ ने बीते साल करजई को निमंत्रण दिया था, जिसे चार बार नवीनीकृत किया जा चुका है। उन्होंने कहा, “मैं राजनीतिक और सैन्य नेताओं से गहराई से चर्चा करना चाहता हूं। मैं सेना से बात करूंगा। पाकिस्तान और अफगानिस्तान शत्रु नहीं हैं, बल्कि जुड़वां है।” करजई ने कहा कि वह पाकिस्तान की यात्रा सरकारी प्रतिनिधि के तौर पर नहीं बल्कि एक अफगान नागरिक के तौर पर करेंगे। उन्होंने कहा, “मैं पाकिस्तानी नेताओं से दोनों देशों के सामने मौजूद हालात पर गौर करने की अपील करूंगा।” उन्होंने बीते सप्ताह चमन सीमा पर सीमा-पार गोलीबारी से दोनों तरफ सुरक्षा कर्मियों और लोगों के हताहत होने पर दुख जताया है।