नई दिल्ली , शहरी विकास मंत्रालय ने गुरुवार को स्वच्छ सर्वेक्षण 2017 की सूची जारी कर दी. 434 शहरों में स्वच्छता को लेकर हुए सर्वेक्षण में उत्तर प्रदेश सबसे फिसड्डी साबित हुआ. सर्वेक्षण में मध्य प्रदेश का इंदौर सबसे अव्वल रहा, तो वहीं भोपाल दूसरे नंबर पर.
शहरी विकास मंत्री वेंकैया नायडू ने आज स्वच्छ सर्वेक्षण के परिणामों की घोषणा की इसमें यूपी के 50 जिलों के 62 शेरोन का सर्वेक्षण भी हुआ. लेकिन इनमे से अधिकतर शहरों की रैंकिंग 305 या उससे निचे रहीं. 41 शहर ऐसे थे जो टॉप 100 के नीचे रहे.
सर्वेक्षण में यूपी का गोंडा (434), हरदोई (431), खुर्जा (425) खुर्जा, शाहजहांपुर (426) और बहराइच (429) शहर सबसे गंदे साबित हुए. वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संसदीय क्षेत्र वाराणसी ने अपनी रैंकिंग सुधारते हुए सूबे की लाज बचाई. वाराणसी 32वें पायदान पर रहा.
सर्वेक्षण में बताया गया है कि सबसे गंदे शहरों में यूपी के पांच, बिहार और पंजाब के दो, उत्तराखंड और महाराष्ट्र के एक-एक शहर शामिल हैं.
शहरी विकास सचिव राजीब गौबा ने कहा कि कल उनकी टीम उत्तर प्रदेश के दौरे पर जाएगी और ख़राब प्रदर्शन के वजहों को पता लगाएगी. उन्होंने कहा कि देश की 1/6 फीसदी आवादी यूपी में रहती है. लिहाजा इसके पीछे की वाजहूँ को पता लगाकर उसे दूर किया जाएगा. गौबा ने कहा कि वाराणसी अन्य शहरों के लिए एक मिसाल है. उसकी रैंकिंग में सुधार हुआ है.
ऐसे की गई रैंकिंग
इस साल रैंकिंग का निर्धारण में 45% अंक खुले में शौच से मुक्ति, सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट, शिक्षा, कैपेसिटी बिल्डिंग के लिए दिए गए. 25% जमीनी निरीक्षण के लिए और 30% अंक जनता के फीडबैक के तहत दिए गए.
इस सर्वेक्षण में देश भर से करीब 18 लाख लोगों ने हिस्सा लिया और अपने शहर में सफाई को लेकर अपने फीडबैक दिए.
स्वच्छता में इन 10 शहरों में मारी बाजी
- इंदौर
- भोपाल
- विशाखापटनम
- सूरत
- मैसूर
- तिरुचिरापल्ली
- दिल्ली
- नवी मुंबई
- तिरुपति
- वड़ोदरा
ये शहर रहे सबसे फिसड्डी
- खुर्जा (उत्तर प्रदेश)
- शाहजहांपुर (उत्तर प्रदेश)
- अबोहर (पंजाब
- मुक्तसर (पंजाब)
- बहराइच (उत्तर प्रदेश)
- कटिहार (बिहार)
- हरदोई (उत्तर प्रदेश)
- बगहा (बिहार)
- भुसावल (महाराष्ट्र)
- गोंडा (उत्तर प्रदेश)